आज के समय हर व्यक्ति अपने लुक को लेकर इतना सजग हो गया है कि वह हरदम कुछ ऐसा पहनने की चाह रखता है, जो न सिर्फ दूसरों से अलग हो, बल्कि आपको ट्रैंडी भी दिखाएं। आपकी इस चाहत को पूरा करने का काम करते हैं फैशन डिजाइनर। फैशन डिजाइनर अपने अनोखे आइडिया के बूते ही हर साल मार्केट में कुछ नया लेकर आते हैं। अगर आपके पास भी कपड़े की समझ के साथ−साथ कुछ नया व हटकर करने की चाह है तो आप बतौर फैशन डिजाइनर अपना उज्ज्वल भविष्य बना सकते हैं।
कार्यक्षेत्र
एक फैशन डिजाइनर का कार्यक्षेत्र सिर्फ कपड़ों को डिजाइन करने तक ही सीमित नहीं है, बल्कि उसे हर समय इस बात का भी ध्यान रखना होता है कि वर्तमान में ग्लोबली क्या ट्रैंड हैं। साथ ही उसे ध्यान में रखकर हमेशा कुछ नया करने का प्रयास करना होता है। एक फैशन डिजाइनर के कार्यक्षेत्र में कपड़ों को डिजाइन करने के साथ−साथ उसे पूरा करने तक अपना बेस्ट देना होता है। अर्थात कपड़ों की स्टिचिंग के अतिरिक्त टीम के साथ मिलकर समय पर काम पूरा करना भी उसका कार्यक्षेत्र है।
स्किल्स
फैशन डिजाइनिंग एक ऐसा क्षेत्र है जो अक्सर युवाओं को अपनी ओर आकर्षित करता है। लेकिन यह जितना ग्लैमरस है, इसमें सफल होने के लिए आपको उतना ही क्रिएटिव होना आवश्यक है। साथ ही इस क्षेत्र में आपकी अलग सोचने की क्षमता के साथ−साथ आपको कपड़ों की बेहतर समझ, सिलाई की बारीकियां और अपने क्लाइंट के हिसाब से कपड़ों को डिजाइन करना आना चाहिए। अर्थात आपको न सिर्फ अपने क्लाइंट की जरूरत को समझना होता है, बल्कि उसे समझकर उसे ऐसे परिणाम देने होते हैं, जिससे आप सफलता की सीढ़ियां चढ़ते चले जाएं।
योग्यता
इस क्षेत्र में भविष्य देख रहे छात्रों के लिए ग्रेजुएशन करना आवश्यक नहीं है। आप चाहें तो दसवीं या बारहवीं के बाद भी शॉर्ट टर्म कोर्स करके इस क्षेत्र में कदम रख सकते हैं। आपको इस क्षेत्र में तीन माह से लेकर एक वर्ष तक के कोर्स मिलेंगे। वहीं डिप्लोमा कोर्स एक साल से लेकर चार साल तक होता है। आप अपनी सुविधानुसार इनका चयन कर सकते हैं। कोर्स के दौरान छात्रों को न सिर्फ लेटेस्ट डिजाइन व ट्रैंड की जानकारी दी जाती है। बल्कि सिलाई के बेसिक जैसे कपड़े की कटाई से लेकर उसकी सिलाई तक के बारे में बताया जाता है। आपको पहले अपने डिजाइन को कागज पर उतारना होता है, उसके बाद कपड़े पर।
संभावनाएं
फैशन डिजाइनिंग का कोर्स करने के बाद आप कई जगह काम की तलाश कर सकते हैं। सबसे पहले खुद के गुणों में निखार करने के लिए आप किसी बड़ी फैशन डिजाइनिंग के अंडर ट्रेनिंग ले सकते हैं। वहीं इसके बाद आप किसी कपड़े की कंपनी या फैशन हाउस में बतौर फैशन डिजाइनर काम कर सकते हैं। अगर आप किसी के साथ जुड़कर काम नहीं करना चाहते तो बतौर फ्रीलांसर भी अपनी सेवाएं दे सकते हैं। वैसे फिल्म और टीवी इंडस्ट्री में भी अच्छे कॉस्टयूम डिजाइनर व फैशन डिजाइनर की डिमांड रहती है। आप चाहें तो वहां पर भी सपंर्क कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त अगर आप खुद का कुछ शुरू करना चाहते हैं तो आप बुटीक खोल सकते हैं या फिर अपने द्वारा डिजाइन किए गए कपड़ों की प्रदर्शनी लगा सकते हैं या फिर उनका बड़े स्तर पर निर्यात भी किया जा सकता है। आप अपने काम को प्रदर्शित करने के लिए ऑनलाइन बाजार का भी सहारा ले सकते हैं। ऐसे में आप कुछ लेटेस्ट ट्रैंड में यूनिक टिवस्ट के साथ ऑनलाइन दुनिया में अपने डिजाइन पेश कीजिए। धीरे−धीरे आपकी पकड़ इस क्षेत्र में बहुत अच्छी हो जाएगी।
आमदनी
इस क्षेत्र में आपकी आमदनी इस बात पर निर्भर करेगी कि आप किसी कंपनी में जॉब करते हैं या फिर अपना खुद का बिजनेस शुरू करते हैं। अगर आप कहीं पर जॉब करते हैं तो शुरूआती दौर में आप 15000 रूपए प्रतिमाह आसानी से कमा सकते हैं, वहीं धीरे−धीरे अनुभव के साथ आपकी आमदनी प्रतिमाह 50000 तक भी आसानी से कमाए जा सकते हैं। इसके अतिरिक्त अगर आप अनुभवी और टैलेंटेड हैं तो आप खुद का बिजनेस शुरू करके लाखों कमा सकते हैं।
प्रमुख संस्थान
नेशनल इंस्टीटयूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी, नई दिल्ली।
नेशनल इंस्टीटयूट ऑफ डिजाइन, अहमदाबाद।
सोफिया पॉलीटेक्निक, मुंबई।
आईआईटीसी, मुंबई।
जेडी इंस्टीटयूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी, विभिन्न केन्द्र।
पर्ल फैशन अकादमी, नई दिल्ली, मुंबई, जयपुर।
लेडी इरविन कॉलेज, नई दिल्ली।
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